कमाई के सारे रिकॉर्ड तोड़ देगी गेहूं की ये किस्म,115 दिन में 75 क्विंटल पैदावार
गेहूं एक ऐसी फसल है जो भारत के सबसे अधिक खाद्यान्न फसलों में से एक है. इसके साथ ही इसका उत्पादन और खपत दोनों ही काफी ज्यादा मात्रा में है. भारत गेहूं के मामले में देश के साथ-साथ दुनिया की जरूरतें भी पूरी करता है. ऐसे में किसानों के ऊपर अच्छी क्वालिटी का गेहूं उगाने की जिम्मेदारी बढ़ जाती है.
Wheat Cultivation
इसी को देखते हुए भारतीय वैज्ञानिकों ने एक ऐसे किस्म के गेहूं को विकसित किया है, जिसमें समय और खर्च दोनों ही कम लगता है और एक अच्छी क्वालिटी के अनाज की पैदावार होती है.इस किस्म के गेहूं में पूसा तेजस गेहूं शामिल है इसे साल 2016 में इंदौर कृषि अनुसंधान केंद्र द्वारा विकसित किया गया था. आज के समय में गेहूं की यह किस्म मध्य प्रदेश के किसानों के लिए किसी वरदान से कम नहीं है.
Wheat Cultivation
कमाई के सारे रिकॉर्ड तोड़ देगी गेहूं की ये किस्म,115 दिन में 75 क्विंटल पैदावार
ये है पूसा तेजस गेहूं की खासियत This is the specialty of Pusa Tejas wheat
भारतीय वैज्ञानिकों द्वारा विकसित की गई पूसा तेजस गेहूं वैज्ञानिक नाम HI-8759 है. यह गेहूं रोटी, बेकरी उत्पादों के साथ-साथ नूडल, पास्ता, मैक्रोनी जैसे उत्पाद बनाने के लिए भी सबसे उपयुक्त रहती है. इस गेहूं में आयरन, प्रोटीन, विटामिन ए और जिंक जैसे पोषक तत्व शामिल है. वहीं, इस गेहूं के सेवन से गेरुआ रोग, करनाल बंट रोग और खिरने की संभावना भी नहीं रहती.
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इस तरह करें Pusa Tejas Wheat की खेती Cultivate Pusa Tejas Wheat in this way
पूसा तेजस गेहूं की बुवाई करने से पहले अपने खेतों में गहरी जुताई लगाकर मिट्टी को भुरभुरा बना लें. इसके बाद खेतों में गोबर की खाद और खरपतवार नाशक दवा (Weed Management in Wheat) का उपयोग अपने खेत में करें ताकि फसल में खरपतवारों की संभावना भी ना रहे. आपको बता दें कि पूसा तेजस गेहूं के बीजों की बुवाई करने से पहले बीजों का उपचार करने की सलाह दी जाती है.
इसके लिए कार्बोक्सिन 75 प्रतिशत और कार्बनडाजिन 50% 2.5-3.0 ग्राम दवा से प्रति किलोग्राम बीजों के उपचार करने की सलाह दी जाती है. गेहूं की बुवाई का समय बचाने के लिए सीड ड्रिल मशीन(Seed Drill Machine) का इस्तेमाल फायदेमंद साबित हो सकता है इसलिए हो सके तो सीड ड्रिल मशीन के सहायता लें. इसे लाइनों के बीच 18 से 20 सेंटीमीटर और 5 सेंटीमीटर गहराई में बीजों की बुवाई करनी चाहिए.
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कमाई के सारे रिकॉर्ड तोड़ देगी गेहूं की ये किस्म,115 दिन में 75 क्विंटल पैदावार
पूसा Pusa Tejas गेहूं का उत्पादन Production of Pusa Pusa Tejas Wheat
गेहूं की पूसा तेजस किस्म बुवाई करने के 115 से 125 दिनों के अंदर ही 65 से 75 क्विंटल तक पैदावार ले सकते हैं. पूसा तेजस गेहूं के 1000 दानों का वजन ही 50 से 60 ग्राम होता है. यानी यह काफी ज्यादा वजनदार होते हैं. साथ ही, देखने में काफी ज्यादा आकर्षित होते हैं. ऐसा इसलिए क्योंकि यह गेहूं कड़क और चमकदार होते हैं. इस प्रजाति के गेहूं से बने खाद्य पदार्थ भी बेहद ही स्वादिष्ट होते हैं.