HTML tutorial

इस नस्ल की मुर्गी का पालन बना देंगा लखपति कम समय में एटीएम की तरह उगलेगी पैसा

By
On:
Follow Us

कड़कनाथ मुर्गी की बात आते ही हर कोई पूछने लगता है कि कड़कनाथ कहां मिलेगी। बाजार में कड़कनाथ मुर्गी की बहुत मांग है, लेकिन हम आपको एक ऐसी मुर्गी की प्रजाति के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसकी मांग जल्द ही बाजार में बढ़ सकती है। कड़कनाथ भी इस मुर्गी की प्रजाति के आगे फेल है, क्योंकि ये कड़कनाथ का ही कॉकटेल है। यानी कड़कनाथ और दूसरी मुर्गी के क्रॉस से कॉकटेल कड़कनाथ तैयार की गई है। यह ऐसी कॉकटेल मुर्गी की प्रजाति है कि इसे पालने वाला बहुत कम समय में मालामाल हो सकता है, क्योंकि यह साल में बहुत सारे अंडे देती है। इसके मांस का स्वाद भी कड़कनाथ जैसा ही बताया जाता है।

यह भी पढ़े :- किसानो के लिए फायदेमंद साबित होगी इस फल की खेती अधिक उत्पादन के साथ होगी लाखों रुपये की कमाई

आप इसे अपने घर के पीछे भी पाल सकते हैं

कृषि वैज्ञानिक डॉ. बीके प्रजापति बताते हैं कि, “जिस मुर्गी की प्रजाति के बारे में हम बात करने जा रहे हैं, उसका नाम नर्मदा निधि है। इसे नानाजी देशमुख पशु विश्वविद्यालय, जबलपुर ने विकसित किया है। नर्मदा निधि प्रजाति को जबलपुर रंगीन मुर्गी और देसी पक्षी कड़कनाथ के क्रॉस कराने के बाद विकसित किया गया है। इसमें कड़कनाथ के 25 प्रतिशत और जबलपुर रंगीन मुर्गी के 75 प्रतिशत तक गुण पाए जाते हैं। यह एक बेहतरीन बैकयार्ड पोल्ट्री के रूप में प्रदर्शन दिखा चुकी है, यानी इसे घर के पीछे जितनी भी थोड़ी जगह मिलेगी, उसमें पाला जा सकता है। नर्मदा निधि प्रजाति की मुर्गी पालना किसानों के लिए बहुत फायदेमंद है।”

यह भी पढ़े :- इस सब्जी की खेती कर किसान कमायेंगे लाखो का मुनाफा कम खर्चे में होगा फायदेमंद सौदा

नर्मदा निधि में क्या खास है

डॉ. बीके प्रजापति बताते हैं कि, “शहडोल जिला एक ग्रामीण प्रधान आदिवासी जिला है। यहां के किसान जो मुर्गी पालन करते हैं, मुख्य रूप से रीर किस्म की मुर्गी पालते हैं, जो बैकयार्ड पोल्ट्री के अंतर्गत किया जाता है। जिसमें एक मुर्गी को 1 किलो वजन बढ़ाने में 180 से 190 दिन से ज्यादा का समय लगता है। लेकिन नर्मदा निधि किस्म की मुर्गी स्थानीय मुर्गियों की तुलना में ज्यादा तेजी से बढ़ती है। नर्मदा निधि किस्म की मुर्गियां सिर्फ ढाई महीने में ही 800 से 900 ग्राम वजन बढ़ा लेती हैं। नर्मदा निधि किस्म की मुर्गियां 140 दिन में 1.5 किलो वजन बढ़ा लेती हैं, वहीं इसी किस्म का मुर्गा 140 दिन में 1.25 किलो वजन बढ़ा लेता है। ऐसे में इसे पालकर कम समय में ज्यादा वजन की मुर्गी प्राप्त की जा सकती है।

अंडों की होगी बारिश, एटीएम की तरह उगलेगी पैसा

कृषि वैज्ञानिक ने बताया कि नर्मदा निधि किस्म की मुर्गी की खास बात यह है कि इसे दोहरे उद्देश्य के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है। यह अंडों के साथ-साथ मांस के लिए भी उपयोगी है। नर्मदा निधि प्रजाति की मुर्गी किसी एटीएम से कम नहीं है, क्योंकि इसे पालने पर साल में 170 से 190 अंडे मिलेंगे। जबकि स्थानीय मुर्गियों से साल में सिर्फ 45 से 50 अंडे ही मिलते हैं। नर्मदा निधि मुर्गी सेहत के लिए भी कड़कनाथ की तरह फायदेमंद है। इसे पालकर किसान कम समय में ज्यादा मुनाफा कमा सकते हैं।

jitu

नमस्कार मेरा नाम जितु देशमुख है मैं 2 वर्षो से डिजिटल मीडिया में कार्यरत हूँ. ऑटोमोबाइल, मोबाइल और किसान समाचार में विशेष रूचि है दुनिया में हो रही हलचल को सत्यता और सटीकता से आप तक पहुंचाना।

For Feedback - [email protected]
Join Our WhatsApp Channel

Related News

Leave a Comment